मैं भारत का इतिहास बताता हूँ |
मैं भारत का इतिहास बताता हूँ |
पांच हजार साल पहले जहां पर हड्ड्प्पा के निशा थे पाए,
आय्रों ने आ कर फिर वहां अपने पांव थे जमाये|
जी मिटटी की खुशबु हमरे बदन से आती है ,
मैं उस मिटटी का इतिहास बताता हूँ|
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
ये ही वो भूमि है जहां भगवान कृष्ण ने खेली होली थी ,
ये ही वो भूमि है जहां बुध और जैन ने आंखे खोली थी |
ये ही वो भूमि है जिसका चन्द्रगुप्त ने मान बढाया था,
अशोक ,हर्षवर्धन जैसे महान राजाओ ने इस देश को सोने की चिड़िया बनाया था|
हुए महान राजा यहाँ पर मैं उन राजाओं की गाथा गाता हूँ,
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ||
ये ही वो देश है जहां पर गजनी ने कहर मचाई थी ,
ये ही वो देश है जहां पर गौरी ने १७ बार की चढाई थी |
तुगलक,लोदी,सैय्येद वंश ने मेरे भारत को बहुत सताया था ,
जहां महमूद तुगलक ने दिल्ली को देवगिरी बनाकर खुद को पढ़ा लिखा मुर्ख कहलवाया था|
कुछ लेखक कहते है ये अन्ध्विश्वाशों का देश है,
मैं कहता हूँ ये अन्धविश्वाश नही ,ये तो मेरे भारत के लोगों का सम्मान है|
इंसान तो क्या पत्थर भी पूजें क्योंकि इस देश के लोग महान है |
इस भारत के महान लोगों के आगे मैं अपना शीश झुकता हूँ ,
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
ये वो भूमि है जहां पर मूगलों ने भी कोहराम मचाया था,
पांच बार कर आक्रमण भारत पर, बाबर ने हुमायूँ को उतराधिकारी बनाया था|
चोसा के युद्ध में हुमायूँ को हराकर शेरशाह ने अपना अधिकार जमाया था,
ये वो देश है जहां जहांगीर ने अर्जुन देव को फांसी चढ़ाया था|
ये वो देश जहां पर एक शायर ने फरमाया था ,
सच्चे प्यार की याद में साह्जहाँ ने ताजमहल बनवाया था|
ये वो देश है जहां पर ओरंग ने जजिया कर लगा कर बाप को अँधा करवाया था ,
यहीं अकबर जैसे महान राजा ने भेदभाव मिटा कर जजिया कर को हटाया था |
मैं अकबर जैसे महान राजाओं का गुणगान गाता हूँ ,
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
ये वो भूमि है जहां पर शवाजी ने अफजल हरा कर मराठों का उत्कर्ष बढाया था,
ये हि वो वक्त था जब ईस्ट इण्डिया कम्पनी ने हकिस नाम का दूत भिजवाया था|
मांगी थी इजाजत उन्होंने अपनी दुकन लगाने की ,
हमको क्या मालूम था इसकी चाल थी भारत को हथियाने की|
धीरे धीरे ईस्ट इण्डिया कम्पनी ने भारत में अपना राज्य बढाया ,
मेरे देश के मासूम लोगों को बड़ी बेहरमी से गुलाम बना कर सताया |
फुट दलों की निति ने दुशमन बना डाला सिख सरदारों को ,
बोले याद करो सिखों के साथ हुए मुस्लिम अत्याचारों को |
जो अंग्रोजो द्वारा हुए भारत पर वो अत्याचार बताता हूँ ,
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
जब मेरे देश के मासूम लोगों पैर अंग्रोजों ने अत्याचार की सीमा बड़ाई थी ,
वहीं मंगल ,झाँसी,तोपे, साह जी ने भारत को आजाद करवाने की बीड़ा उठाई थी |
सवतंत्रता की रह पर चल कर उन्होंने अपने प्राण थे गवाय थे ,
मेरी माँ की आजादी की खातिर तिलक ,विन्यकर ,गोखले जी ने बलिदानी रक्त बहाए थे |
पूछा था जब विन्यकर जी से क्या ५० साल तक तुम इस जेल में रह पिओगे ,
वो बोले थे मुस्कुराते हुए मेरी छोड़ो तुम कुछ दिन में ही यहाँ से भागते नजर आओगे|
मुझे याद है जब जलियाँ वाले में डायर ने निहथे लोगों को मरवाया था ,
वहीँ मेरे देश का वीर उधम सिंह उसे उसके देश में मारकर आया था |
एक शक्श था जिसने आजाद हिन्द फोज सम्भाल,तुम मुझे खून दो मैं तुम्हे आजादी दूंगा का नारा लगाया था,
सुभाष चन्द्र बोस जी थे जिन्होंने महात्मा गाँधी जी को राष्ट्र पिता कहकर बुलाया था|
मैं भारत माँ के वीरों आगे अपना शीश झुकाता हूँ ,
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
ये वो देश है जिसकी आजादी खातिर शेखर ,दत्त ,भगत सिहं ने असम्बली में बंब गिराया था,
लाजपत राय की मौत का बदला ले कर ,फांसी को गले लगाया था|
ये ही वो देश है जहां पर गाँधी जी ने भारत छोड़ो का नारा लगाया था,
अपने देश की आजादी के खातिर अहिंसा का मार्ग अपनाया था |
आखिर इन वीरों कि बलिदानी रंग लाई,
१५ अगस्त १९९५ को मेरे भारत ने आजादी की पताका फेहराई|
नेहरु ,आंबेडकर ,राजेन्द्र ,आजाद ,पटेल ने २६ जनवरी १९५० को भारत का सविंधान बनाया ,
ये ही वो दिन था जब मेरे भारत की सोने की चिड़िया ने फिर से पंख फहराया|
बहाया लहूँ जिन वीरों ने मैं उन वीरों का इतिहास बताता हूँ ,
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||
मैं भारत माँ का बेटा अपनी माँ का इतिहास बताता हूँ ||